कराची। पाकिस्तान में प्राकृतिक गैस शुल्क में अभूतपूर्व बढ़ोतरी किए जाने से सीएनजी पर आधारित क्षेत्रों के दिवालिया होने और हजारों लोगों के बेरोजगार होने का खतरा मंडराने लगा है। ऑल पाकिस्तान सीएनजी एसोसिएशन(एपीसीएनजीए) प्राकृतिक गैस शुल्क में इस असाधारण वृद्धि के बाद देशव्यापी हड़ताल का रास्ता अख्तियार कर सकती है।
सीएनजी क्षेत्र से जुड़े एक नेता ने सोमवार को यह घोषणा की। एपीसीएनजीए के केंद्रीय अध्यक्ष इफ्तिकार अहमद ने कहा ‘‘प्राकृति गैस के शुल्क में 31 प्रतिशत की असाधारण बढ़ोतरी से सीएनजी क्षेत्र दिवालिया और हजारों बेरोजगार हो जायेंगे।’’ अहमद ने कहा कि इस बढ़ोतरी से न केवल आम आदमी और गैस का इस्तेमाल करने वाले मौजूद कारोबार पर असर होगा अपितु भविष्य में निवेश पर भी असर पड़ेगा जिसमें विदेशी निवेश से तरल प्राकृतिक गैस(एलएनजी) टर्मिनल का निर्माण भी शामिल है।
उन्होंने बताया कि सिंध,ब्लूचिस्तान और खैबर पख्तूनवा प्रांतों के सीएनजी डीलरों ने गैस की कीमत में 22 रुपए प्रति किलो की बढ़ोतरी कर दी है जबकि पंजाब में केवल तीन रुपए प्रति किलोग्राम बढ़ाए गए हैं। अहमद ने बताया ‘‘ पंजाब में आयातित गैस का इस्तेमाल होता है जिस पर बजट में पांच प्रतिशत सीमा शुल्क लगाया गया है और इसकी वजह से तीन रुपए प्रति किलोग्राम का भार पड़ा है।’’ द एक्सप्रेस ट्रिब्यून की रिपोर्ट के अनुसार सीएनजी क्षेत्र के नेता ने गैस की ऊंची कीमतों को नकार दिया है जिससे पेट्रोल की खपत बढ़ेगी और इस कारण देश के विदेशी मुद्रा भंडार पर इसका असर होगा।
अहमद ने कहा कि वर्तमान सरकार ने ऊर्जा की कीमतों में पिछले 10 माह के दौरान कई बार बढ़ोतरी की है जिससे जनमानस, उद्योग और कृषि बुरी तरह प्रभावित हुई है। उन्होंने कहा ‘‘ देश में आर्थिक गतिविधिया दिन प्रतिदिन सुस्त पड़ती जा रही हैं।’’ अहमद ने कहा निजी क्षेत्र उसी स्थिति में कर का भुगतान और रोजगारसृजन कर सकता है जब उसका कारोबार चलेगा। रविवार को जारी की गई अधिसूचना में तीन प्रांतों में सीएनजी के दामों में 22 रुपए प्रति किलो तक की बढ़ोतरी की गई जबकि पंजाब पर आयातित गैस का इस्तेमाल करने की स्थिति में कीमतों में इस भारी बढ़ोतरी का असर नहीं पड़ा।