लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Election 2024) के बीच सुप्रीम कोर्ट ने ईवीएम और वीवीपैट से जुड़ा बड़ा फैसला सुनाया है। सुप्रीम कोर्ट (SC) ने ईवीएम और वीवीपैट (EVM-VVPAT) के 100 प्रतिशत सत्यापन से जुड़ी सभी याचिकाएं खारिज कर दी हैं। सुप्रीम कोर्ट की दो जजों की बेंच ने सर्वसम्मति से यह फैसला किया है। इसके साथ ही कोर्ट ने पेपर बैलेट की मांग को भी खारिज कर दिया है। फैसला सुनाते हुए जस्टिस संजीव खन्ना ने कहा कि हमने ईवीएम (EVM) और वीवीपैट (VVPAT) से जुड़ी सभी याचिकाओं को खारिज कर दिया है। इसके साथ ही उन्होंने टिप्पणी करते हुए कहा कि लोकतंत्र अपने विभिन्न स्तंभों के बीच सद्भाव और विश्वास पर टिका हुआ है। इस पर कोर्ट का रुख साक्ष्यों और सबूतों पर आधारित रहा है।
वहीं जस्टिस दीपांकर दत्ता ने कहा कि किसी प्रणाली पर आंख मूंदकर संदेह करना सही नहीं है। इसलिए हमारे अनुसार सार्थक आलोचना की आवश्यकता है। चाहे वह न्यायपालिका हो, विधायिका आदि हों। लोकतंत्र का अर्थ सभी स्तंभों के बीच सद्भाव और विश्वास बनाए रखना है। विश्वास और सहयोग की संस्कृति को बढ़ावा देकर हम अपने लोकतंत्र की आवाज को मजबूत कर सकते हैं। बता दें कि सुप्रीम कोर्ट की दो जजों की बेंच ने वीवीपैट की गिनती के मुद्दे पर समवर्ती फैसला सुनाया। लेकिन, दोनों जजों ने अलग-अलग फैसले सुनाए।
सुप्रीम कोर्ट ने यह फैसला सुनाते हुए दो निर्देश दिए हैं। कोर्ट ने कहा कि सिंबल लोडिंग प्रक्रिया पूरी होने के बाद सिंबल लोडिंग यूनिट को सील किया जाना चाहिए। वहीं एसएलयू को कम से कम 45 दिनों के लिए स्टोर किया जाना चाहिए। इसके अलावा सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि उम्मीदवारों के अनुरोध पर रिजल्ट की घोषणा के बाद इंजीनियर की मदद से माइक्रोकंट्रोलर ईवीएम में जली हुई मेमोरी की जांच की जाएगी। कोर्ट ने कहा कि यह रिजल्ट आने के 7 दिन के भीतर ही किया जाना चाहिए।