ग्वालियर। मध्यप्रदेश के ग्वालियर में आज जन्माष्टमी के अवसर पर प्रसिद्ध गोपाल मंदिर में हजारों श्रद्धालुओं ने दर्शन किए। मंदिर परिसर को भव्य तरीके से सजाया गया है और भगवान राधाकृष्ण की प्रतिमा का श्रंगार मूल्यवान गहनों से किया गया है। दोपहर में मंदिर में श्रद्धालुओं के प्रवेश के समय से ही लोगों की कतार लग गयी थी। आज प्रात: से ही गोपाल मंदिर में भगवान राधाकृष्ण के श्रंगार के लिये तैयारियां जोरों पर थी। मंदिर को फूल, पत्ती व आकर्षक विद्युत से सजाया गया था। पूरे मंदिर परिसर में मैटल डिटेक्टर और कैमरे लगाये गये थे। मंदिर परिसर और आसपास सुरक्षा के भी पुख्ता इंतजाम किए गए। नगर निगम अधिकारियों का दल अपर आयुक्त आर के श्रीवास्तव के नेतृत्व में कोषालय और बैंक पहुंचा, जहां से पूरी निगरानी में जेवरात निकाले गये।
उसके बाद वाहनों में निगम अधिकारियों का दल जेवरात लेकर गोपाल मंदिर पहुंचा। जहां भगवान राधाकृष्ण को वैदिक मंत्रोच्चार और पूजा पाठ के बाद जेवरात पहनाये गये। इस दौरान आम जनता का प्रवेश रोके रखा गया था। भगवान राधाकृष्ण को जो जेवर पहनाये गये, वे सब तत्कालीन सिंधिया राजपरिवार के हैं। आजादी के बाद मध्यभारत का गठन होने पर सिंधिया परिवार ने ये जेवर जिला प्रशासन और नगर निगम को सौंप दिए थे। तभी से यह नगर निगम की संपत्ति में माने जाते हैं। इन्हें नगर निगम अपनी निगरानी में लॉकरों में ही रखवाता है। जेवरातों में पुखराज, माणिक , पन्ना और हीरे तक जड़े हैं, जो बेशकीमती हैं। अकेले मुकुट में लगा रत्न पन्ना ही काफी कीमती है।