नैनीताल। उत्तराखंड के करोड़ों रूपये के समाज कल्याण घोटाले में उच्च न्यायालय ने बेहद कड़ा रूख अख्तियार करते हुए विशेष जांच दलों की प्रगति रिपोर्ट पर असंतुष्टि जाहिर की और दोनों को पन्द्रह दिन के अंदर प्रभावी रिपोर्ट पेश करने को कहा है। अदालत ने यह भी कहा कि एसआईटी का यही रवैया रहा तो अदालत को मामले की जांच सीबीआई से कराने के निर्देश जारी करने पड़ेंगे। दूसरी ओर घोटाले के कथित आरोपी संयुक्त निदेशक गीतराम नौटियाल की गिरफ्तारी पर फिलहाल रोक लगा दी है। इसके अलावा कोर्ट ने अनुसूचित जाति-जनजाति आयोग के फैसले पर भी निर्णय सुरक्षित रख लिया है। आयोग ने एसआईटी को नौटियाल की गिरफ्तारी नहीं करने को कहा था।
याचिकाकर्ता के वकील एम सी पंत ने बुधवार को यह जानकारी दी। उच्च न्यायालय के आदेश पर आज विशेष जांच दल के दोनों प्रमुख पुलिस महानिरीक्षक संजय गुंज्याल और पुलिस अधीक्षक टीएस मंजूनाथ अदालत में पेश हुए। अदालत ने दोनों की ओर से की गयी जांच पर बेहद असंतोष जाहिर किया। अदालत ने गुंज्याल की जांच पर काफी सवाल खड़े किये और कहा कि दस महीने में जांच में कोई प्रगति नहीं हुई है। दूसरी ओर अदालत ने मामले में दोषी चल रहे समाज कल्याण विभाग के संयुक्त निदेशक नौटियाल को थोड़ी राहत प्रदान कर दी है।