सूर्यदेव एक तेजस्वी देवता माने जाते हैं। सूर्यदेव को जल चढ़ाने से धर्म लाभ के साथ ही स्वास्थ्य लाभ भी मिलते हैं। सूर्यदेव लोगो की किस्मत चमकाने में माहिर होते हैं। सूर्य पूजा करने वालो पर भी सूर्यदेव की कृपा दृष्टि बनी रहती हैं। सूर्य से ही इस पृथ्वी पर जीवन है, यह आज एक सर्वमान्य सत्य है। ऋग्वेद के देवताओं कें सूर्य का महत्वपूर्ण स्थान है। यजुर्वेद ने "चक्षो सूर्यो जायत" कह कर सूर्य को भगवान का नेत्र माना है। सभी देवताओं की तरह इनका भी पूजा करने से कई लाभ होते हैं। सूर्यदेव आपके ऊपर अपनी विशेष कृपा दृष्टि जरूर बरसाएंगे। जो व्यक्ति नियमित रूप से सूर्यदेव को जल अर्पित करता हैं उनका वे विशेष रूप से ध्यान रखते हैं सूर्यदेव को जल देते रहने से मन शांत और पॉजिटिव हो जाता हैं ऐसे में इन लोगो की पूजा पाठ का अस्सर भी अधिक होता हैं इसलिए यदि आप सूर्यदेव के प्रिय बनना चाहते हैं तो सिर्फ रविवार ही नहीं बल्कि रोजाना उन्हें जल चढ़ाए जल देने के साथ आप अपने स्थान पर घूम सूर्यदेव की परिक्रमा भी कर सकते हैं।
इससे और भी ज्यादा लाभ होता हैं। सूर्योदय के पूर्व स्नान कर लेने वाले लोगो को भी सूर्यदेव पसंद करते हैं इसके पीछे भी एक ख़ास वजह हैं जब सूर्य की किरणें आपके शरीर को स्पर्श करती हैं तो ये एक तरह से आपका सूर्यदेव से मिलाप होता हैं ऐसे में वे यही चाहेंगे कि मेरा प्रथम आशीर्वाद लेते समय भक्तजन साफ़ और स्वच्छ हो इसलिए आपको जहाँ तक हो सके सूर्य उदय होने के पूर्व ही स्नान कर लेना चाहिए इससे आपको फायदा ही फायदा होगा। सूर्य पूजा करने वालो पर भी सूर्यदेव की कृपा दृष्टि बनी रहती हैं आमतौर पर लोग बाकी देवी देवताओं की तरह सूरज देवता की विधि विधान से पूजा पाठ नहीं करते हैं ज्यादा से ज्यादा उन्हें जल अर्पित कर हाथ जोड़ लेते हैं परंतु यदि आप उनका भी बाकी देवी देवताओं की तरह आरती की थाली से पूजन करेंगे तो आपके ऊपर उनकी विशेष कृपा बरसना शुरू हो जाएगी इस कृपा के चलते आपकी फूटी से फूटी किस्मत भी चमक जाएगी। दान धर्म करने वाले लोग भी सूर्यदेव के प्रिय होते हैं आपके अंदर की दया भावना देख वे आपका विशेष ख्याल रखते हैं और आपके जीवन में कई सुखद पल लाते हैं ये दान धर्म आप मंदिर में, ब्राह्मण को या किसी गरीब जरूरतमंद को भी कर सकते हैं