न्यूयार्क। दुनिया भर में भूख से निपटने के तमाम प्रयासों के बावजूद पिछले तीन वर्ष में ऐसे लोगों की संख्या बढ़ी है जिन्हें पर्याप्त भोजन नहीं मिल रहा है और हर नौ में से एक व्यक्ति भूख से पीड़ति है। संयुक्त राष्ट्र की सोमवार को जारी एक रिपोर्ट के मुताबिक विश्व में वर्ष 2018 में 82 करोड़ से अधिक लोगों के पास खाने के लिए पर्याप्त भोजन नहीं था जबकि वर्ष 2017 में यह संख्या 81.1 करोड़ थी। यह स्थिति 2030 तक विश्व को ‘भुखमरी से मुक्त’ करने के सतत विकास लक्ष्य की राह में बहुत बड़ी बाधा है।
वहीं दूसरी ओर दुनिया के कई देशों में अधिक वजन और मोटापे की समस्या विकराल रूप धारण कर रही है। रिपोर्ट के मुताबिक जिन देशों में आर्थिक विकास दर धीमी है, खास तौर पर मध्य आय वर्ग वाले देश तथा ऐसे देश जो ‘इंटरनेशनल प्राइमरी कमोडिटी ट्रेड’ पर पूरी तरह निर्भर हैं, उनमें भूख से पीड़ित लोगों की समस्या काफी गंभीर रूप अख्तियार कर रही है। इसके अलावा कई देशों में आय की असमानता के कारण भी बड़ी संख्या में गरीब और हाशिये के लोगों को पर्याप्त भोजन उपलब्ध नहीं हो पा रहा है। ऐसे लोग आर्थिक मंदी और संकट से उबर पाने में सक्षम नहीं हैं।