नई दिल्ली। ब्रिटेन के गृह सचिव साजिद जाविद ने भगोड़े शराब कारोबारी विजय माल्या के भारत को प्रत्यर्पण की मंजूरी दे दी। गृह सचिव जाविद ने माल्या के प्रत्यर्पण के आदेश जारी करने से पहले मामले से जुड़े सभी मुद्दों पर गौर किया। जाविद ने सोमवार को माल्या के प्रत्यर्पण के आदेश पर हस्ताक्षर किए।
उधर, 5 जनवरी को मुंबई की अदालत के फैसले के बाद सरकार के लिए मुश्किलें थोड़ी आसान हो गई हैं, क्योंकि लंदन की कोर्ट ने भारतीय जांच एजेंसियों के सबूत को मानते हुए विजय माल्या को मनी लांड्रिंग का आरोपी माना था और भारत को सौंपे जाने का फैसला सुनाया था। अब मुंबई की अदालत ने नए कानून के तहत विजय माल्या को भगोड़ा आर्थिक अपराध कानून 2018 के तहत भगौड़ा घोषित किया है। इस फैसले को आधार बना कर जांच एजेंसियां विजय माल्या को भारत लाने की कोशिशें तेज करेंगी।
अपील करने के लिए 14 दिन
इसे भारत की कूटनीतिक जीत के तौर पर देखा जा रहा है। होम आॅफिस की ओर से बताया गया है कि विजय माल्या औपचारिक रूप से अभी अपील कर सकता है। अपने प्रत्यर्पण के खिलाफ अपील करने के लिए माल्या के पास 14 दिनों का समय है। इस बीच, भारतीय विदेश मंत्रालय ने यूके सरकार के फैसले का स्वागत किया है। मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि हमें माल्या के भारत प्रत्यर्पण के आदेश पर यूके होम सेक्रटरी द्वारा हस्ताक्षर करने की जानकारी मिली है। हम यूके सरकार के फैसले का स्वागत करते हैं।
होम सेक्रटरी के पास था मामला
दरअसल, प्रत्यर्पण संधि की प्रक्रियाओं के तहत चीफ मजिस्ट्रेट का फैसला होम सेक्रटरी के पास भेजा गया था क्योंकि माल्या के प्रत्यर्पण आदेश को जारी करने का अधिकार उनके पास ही है। ब्रिटेन में रह रहा शराब कारोबारी पिछले साल अप्रैल में प्रत्यर्पण वारंट पर गिरफ्तारी के बाद से जमानत पर है। ऐसा लगता है कि माल्या को अपने खिलाफ ऐक्शन का कुछ दिन पहले ही आभास हो गया था। शायद इसी वजह से माल्या के सुर बदले थे।
बचने की पुरजोर कोशिश
माल्या लंदन में कानूनी नियमों का सहारा लेते हुए अपने आपको को बचाने की पुरजोर कोशिश कर रहा है, लेकिन ब्रिटिश सरकार का यह फैसला उसके लिए झटका है।
यह है केस
विजय माल्या मनी लॉन्ड्रिंग और लोन की रकम दूसरे कामों में खर्च करने के अलावा 9,000 करोड़ रुपये का लोन वापस न करने के मामले का सामना कर रहा है। माल्या फिलहाल लंदन में रह रहा है। वो अपने खिलाफ सीबीआई के लुकआउट नोटिस को कमजोर किए जाने का फायदा उठाते हुए मार्च 2016 में ब्रिटेन भाग गया था। अगस्ता वेस्टलैंड हेलिकॉप्टर डील मामले में क्रिश्चियन मिशेल के प्रत्यर्पण के बाद विजय माल्या ने तुरंत ट्वीट कर पैसा लौटाने की बात कही थी।