नई दिल्ली। वामपंथी विनय विस्वम ने सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों के विलय को तत्काल रद्द करने की मांग करते हुये मंगलवार को राज्यसभा में कहा कि बैंकिंग सेवाओं पर बहुत अधिक शुल्क वसूला जा रहा है जिसे कम किये जाने की जरूरत है। विस्वम ने शून्यकाल के दौरान इस मुद्दे को उठाते हुये कहा कि विलय के माध्यम से छह सरकारी बैंकों को समाप्त किया जा रहा है जिनका क्षेत्रीय और ग्रामीण क्षेत्रों में अपना महत्व है।
इस विलय के विरोध में आज राजधानी में विरोध प्रदर्शन हो रहा है। उन्होंने कहा कि विलय से किसी समस्या का समाधान नहीं हो सकता है बल्कि दिवालिया हो चुके बड़े कर्जदारों से वसूली की जानी चाहिए। उन्होंने बैंकिंग सेवा शुल्क में कमी किये जाने की मांग करते हुये कहा कि इसका सबसे अधिक असर आम लोगों पर हो रहा है।